अलीगढ़ भारत के सर्वाधिक आबादी वाले राज्य उत्तर प्रदेश के अलीगढ़ जिले में स्थित एक शहर है।यह शहर अध्ययन का एक महत्वपूर्ण केंद्र है तथा प्रसिद्ध अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय सहित कई अन्य शिक्षण संस्थानों के लिये जाना जाता है। अलीगढ़ का एक लंबा इतिहास रहा है यहीं पर फ्रेंच और ब्रिटिश के बीच अली घुर की लड़ाई लड़ी गयी थी।
अलीगढ़ पहले ‘कोल’ के नाम से जाना जाता था। सम्भवतः इसका यह नाम यहां रहने वाली मूल जनजाति के नाम पर पड़ा था। हालांकि, यह भी माना जाता है कि इसका यह नाम एक पहाड़ या एक ऋषि या दानव के नाम पर रखा गया था। मुगल शासक, इब्राहिम लोधी, के शासनकाल में उमर के पुत्र तथा कोल के राज्यपाल मुहम्मद कोल द्वारा कोल नाम का किला बनाया गया था। यह किला आज शहर का मुख्य आकर्षण है लेकिन अब यह अलीगढ़ किले के रूप में जाना जाता है।शहर ने कई लोगों का शासन देखा और अपनी इस यात्रा में इसके नाम बार-बार बदले गये। कभी मुहम्मदगढ़, सबितागढ़, रामगढ़ नाम रहा और अंततः इसका नाम अलीगढ़ पड़ा।
एक प्रमुख शिक्षा केंद्र होने के अलावा, अलीगढ़ उत्तर भारत का एक प्रसिद्ध व्यावसायिक केन्द्र भी है। यह ताला विनिर्माण उद्योग का केंद्र है- एक ऐसा उद्योग जिसकी जड़े मुगलकाल से जुड़ी हुई हैं। शहर अपने पीतल उत्पादों और 'अलीगढ़ी पजामा' के लिए भी प्रसिद्ध है तथा ये चीजें अलीगढ़ के रेलवे रोड मार्केट और सेंटर प्वाइंट मार्केट से खरीदी जा सकती हैं।
अलीगढ़ तथा इसके आसपास के पर्यटन स्थल
अलीगढ़ का किला शहर का सबसे प्रसिद्ध आकर्षण है। डोर का किला इसका साथ देता दिखाई पड़ता है, वर्तमान में यह जीर्ण-शीर्ण अवस्था में है, परन्तु यह अपने निर्माणकाल की अवधि पर प्रकाश डालता है। अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय भारत में अग्रणी शैक्षिक संस्थानों में से एक है।
शहर में भी सर सैयद अकादमी संग्रहालय, चाचा नेहरू ज्ञान पुष्प और हाकिम करम हुसैन संग्रहालय सहित कुछ उल्लेखनीय संग्रहालय हैं। पूजा स्थलों में विशाल जामा मस्जिद है तो शिवराजपुर में स्थित खेडेश्वर मंदिर भी है। जैन समुदाय के लिये तीर्थधाम मंगलायतन है,तथा इस परिसर में मंदिर व शोध केन्द्र हैं।
अलीगढ़ में कुछ प्रसिद्ध दरगाह हैं, या सूफी संतों के अंतिम विश्राम स्थल हैं, जिनको हिंदू और मुसलमान दोनों मानते व सम्मान करते हैं। बाबा बर्ची बहादुर की दरगाह पर अपने श्रद्धासुमन अर्पित करने व अपनी मन्नतों की पूर्ति हेतु आशीर्वाद लेने के लिए यहां लोगों की खासी भीड़ जुटती है।अलीगढ़ में भारत में सबसे बड़ी, तथा एशिया की दूसरे स्थान की सबसे बड़ी लाइब्रेरी, मौलाना आजाद लाइब्रेरी है।
शहर की अराजकता से दूर, शेखावत झील बेहद सुकून पहुंचाती है तथा यहां आकर स्थानीय और प्रवासी पक्षियों को देखने का भी लुत्फ उठाया जा सकता है।अलीगढ़ प्रवास के दौरान, आप नजदीक ही स्थित नगलिया गांव का भी दौरा कर सकते हैं जो काला हिरण सहित दुर्लभ जानवरों की प्रजातियों के संरक्षण के लिए समर्पित है। इसके अलावा, अलीगढ़ में खरीदारी का अपना एक अलग एक अनुभव है – तालों से लेकर पीतल की बनी वस्तुओं तथा स्थानीय कला और शिल्प वस्तुएं- सब कुछ यहां के बाजारों में उपलब्ध है।
अलीगढ़ की यात्रा के लिए सबसे अच्छा समय
अक्तूबर से मार्च का समय अलीगढ़ यात्रा के लिए सबसे अच्छा समय है।
अलीगढ़ तक कैसे पहुंचे
यहां आने- जाने के लिए अलीगढ़ सड़क, रेल और हवाई मार्ग से अच्छी तरह से जुड़ा हुआ है।