मालिनीथान एक पुरातात्विक क्षेत्र है, जो असम और अरुणाचल प्रदेश की सीमा के पास सियांग की पहाड़ियों में स्थित है। इस स्थान पर 14वीं व 15वीं शताब्दी में बने दुर्गा मंदिर के अवशेष खुदाई के दौरान मिले थे। इसके अलावा यहां अलग-अलग देवताओं के ग्रेनाइट से बनी मूर्तियां और वनस्पति व जानवरों के नमूने भी पाए गए हैं।
इसे एक पवित्र स्थान माना जाता है और यहां बड़ी संख्या में श्रद्धालु आते हैं। इस स्थान से हिंदू धर्म की एक प्रसिद्ध पौराणिक कथा जुड़ी हुई है। ऐसा कहा जाता है कि रुक्मणी की शादी से पहले ही भगवान कृष्ण उसे उठा ले गए। पार्वती ने उनका स्वागत पुष्पमाला से किया था।
पार्वती को भगवान कृष्ण ने सुचारू मालिनी नाम दिया था। इसी के आधार पर इस स्थान का नामकरण हुआ। यह जगह आलोंग से 150 किमी दूर है।