विश्व शांति स्तूप भारत में बनाये गए स्तूपों में से एक है। यह गीताई मंदिर के बाजू में है। यह फूजी गुरूजी का एक सपना था जिसे जिन्हें गांधीजी प्यार से इस नाम से बुलाते थे। ऐसा विश्वास है कि फूजी गुरूजी 1935 में जापान से वर्धा आए थे और भारत में इन स्तूपों को बनाने के उद्देश्य से गाँधीजी से मिले।
स्तूप बौद्ध समुदाय के लिए पूजा की एक जगह के समान है। यह बड़ा और सफ़ेद रंग का है और विभिन्न चारों दिशाओं में भगवान बुद्ध की मूर्तियाँ लगी हुई है।
यह स्तूप गौतम बुद्ध के जीवन इतिहास का वर्णन करता है। समीप ही एक जापानी बुद्ध मंदिर भी है जिसके निकट एक बड़ा उद्यान है।