महुडी तीर्थ, जैनियों के सबसे पवित्र मंदिरों में से एक है। इस स्थान को प्राचीनकाल में मधुमती के नाम से जाना जाता है और 2000 साल पुरानी सभ्यता के सबूत आज भी यहां मिलते है। आचार्यदेव बुद्धि सागरसूरीसवारजी ने इस मंदिर के निर्माण की शुरूआत तपस्या...
गांधी आश्रम, साबरमती नदी के किनारे पर स्थित है और इसे साबरमती आश्रम के नाम से भी जाना जाता है। इसकी स्थापना, 1917 में महात्मा गांधी द्वारा की गई थी। यह आश्रम, गांधी जी के दांडी मार्च के लिए विख्यात है, यही से गांधी जी ने नमक आंदोलन के लिए उठाए गए...
सुंदरवन मूल रूप से एक प्रोजेक्ट है जो पर्यावरण शिक्षा के केंद्र, अहमदाबाद के रूप में लागू किया गया था। यह एक छोटा सा चिडियाघर है जो बच्चों और युवाओं के बीच, पशुओं के बारे में जागरूकता फैलाता है। यहां कई प्रकार के जागरूकता और पर्यावरण शिक्षा कार्यक्रम समय...
यह संग्रहालय गुजरात की लोक कला को एक श्रद्धांजलि है। गुजरात में विभिन्न समुदायों के लोक कलाओं के कई प्रकार है, इस संग्रहालय में इन सभी लोक कलाओं का प्रदर्शन किया जाता है। कांच पर रंगीन जड़ाऊ काम, मेटल वर्क, लकड़ी पर नक्काशी, चमड़े का काम, बीड़ वर्क,...
यह मंदिर सनातन धर्म में विश्वास रखने वाले स्वामीनरायाण संप्रदाय का मंदिर है। इस मंदिर को गुलाबी पथर से बनवाया गया था जिसमें भगवान स्वामीनरायण की मूर्ति रखी हुई है, जो इस सम्प्रदाय के संस्थापक है। मंदिर में स्वंय स्वामीनारायण की...
ऑटो वर्ल्ड , भारत का सबसे बड़ा ऑटोमोबाइल का संग्रह है और यह दुनिया में भी सबसे सर्वश्रेष्ठ है। यह कलेक्शन, दास्ंता एस्टेट ऑफ काठवाडा, अहमदाबाद में स्थित है और यहां पर बुनियादी तौर पर श्री प्राणलाल भोगिलाल की पुरानी कारों का निजी संग्रह...
सरखेज रोजा, गुजरात में एक सबसे महत्वपूर्ण रोजा कॉम्पलेक्स है जिसमें कई मस्जिद, अंत्येष्टि और महल स्थित है। सरखेज, अहमदाबाद में मुख्य शहर से 7 किमी. की दूरी पर स्थित है। इस परिसर में निर्माण कार्य की शुरूआत सुल्तान मोहम्मद शाह ने की थी, बाद...
मानेक चौक का नाम, संत बाबा मानेक नाथ के नाम पर रखा गया है। यह कहानी 15 वीं सदी है जब अहमद शाह, किले को बनवा रहे थे, बाबा अपनी सुपर प्राकृतिक शक्तियों से बाधा पैदा करते थे। वह एक बुनी हुई चटाई का इस्तेमाल किया करते थे, जब किला बनता था, तो दिन के दौरान वह शांत...
संस्कार केन्द्र, अहमदाबाद का प्रमुख सांस्कृतिक केंद्र है जिसे 1954 में विश्व प्रसिद्ध वास्तुकार, ला कार्बुजिए द्वारा बनाया गया था। टैगोर हॉल और नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ डिजाइन के पास, पड़ने वाली इस इमारत की आधुनिक वास्तुकला किसी चमत्कार से कम नहीं है।
...पर्यावरणीय योजना और प्रौद्योगिकी केंद्र या सीईपीटी कैम्पस को बी. वी. दोशी के द्वारा 1962 में स्थापित किया गया था। एक स्वायत्त विश्वविद्यालय में भी एक इंटीरियर डिजायन सेंटर है जिसे स्कूल ऑफ इंटीरियर डिजायन के नाम से जाना जाता है जिसे श्री कृष्णा...
1822 में निर्मित, यह स्वामी नारायण संप्रदाय का पहला मंदिर है जिसे ब्रिटिश काल में स्वामी आदिनाथ के द्वारा बनवाया गया था। इस मंदिर को बर्मी टीक की लकड़ी से बनाया गया था। इस पर की गई नक्काशी बेहद खूबसूरत है और कई धार्मिक ग्रंथों में उल्लेख की गई...
इस मस्जिद को 1573 में बनवाया गया था और यह अहमदाबाद में मुगल काल के दौरान बनी आखिरी मस्जिद है। मस्जिद के पश्चिमी ओर की खिड़की पर पत्थर पर बनी जाली का काम पाया जाता है जो पूरी दुनिया में प्रसिद्ध है। बाहर परिसर में पत्थर से ही नक्काशी और खुदाई करके एक...
सांइस सिटी, गुजरात सरकार का एक प्रोजेक्ट है जिसे आम जनता के बीच प्रशंसा और विज्ञान की बेहतर समझ पैदा करने के लिए स्थापित किया गया है। यह कुल 107 हेक्टेयर के क्षेत्रफल में फैला हुआ है। यह स्थल, सरखेज गांधीनगर के पास में ही स्थित है। यहां कई...
सरदार पटेल संग्रहालय, शाहीबाग इलाके में स्थित है जिसे मोती शाही महल में बना दिया गया, और राष्ट्रीय संग्रहालय घोषित कर दिया, इस महल को शाहजहां द्वारा 1618 और 1622 के बीच बनवाया गया था। 1960 से 1978 तक, इस महल को गुजरात के राज्यपाल के राजभवन के रूप में बना...
मध्य यूरोप से कई प्रवासी पक्षी इस अभयारण्य में सर्दियों के दौरान, भोजन और गर्मी की खोज में आते है। इस पक्षी अभयारण्य में लगभग 200 प्रजाति की चिडि़यां पाई जाती है जिनमें भूरी और सफेद बेडिग बर्ड, ब्लैक टेल्ड गोडविट, स्टीन्ट,...