फिशिंग में उत्सुक सैलानियों को गुलमर्ग का फिशिंग पॉड काफी आकर्षित करता है। यहाँ जो भी मछली पकड़ने में अपना हाथ आज़मायेगा वह खाली हाथ नहीं लोटेगा। पर हर मछली पर आपको कुछ दाम देने होंगे।
गुलमर्ग के बहुत करीब कुकर्नाग, एक प्रमुख पर्यटक स्थल है। कुकर्नाग दो शब्दों को जोड़ने से बनता है। कुकर का अर्थ है "पक्षी को मारना" और नाग मतलब "सांप"। समुंदरी तट से 2000 मीटर की ऊंचाई पर स्थित यह स्थान, अपने बगीचों, धाराओं और शुद्ध पानी के लिए प्रसिद्ध है। कहा जाता...
खिलनमर्ग, गुलमर्ग बस स्टॉप से केवल 4 कि.मी दूर है। सैलानी यहाँ, वादियों कि सैर करते पहुँच सकते हैं। पहाडों से घिरी इन वादियों में, वसंत रुतु में कई प्रकार के फूल खिलते हैं। खिलनमर्ग में कई सुन्दर पर्यटक स्थल है जैसे नंगा पर्वत, हिमालय, नून और कुन की दो चोटियाँ जो...
अच्चबल एक उद्यान है, जिसका निर्माण मुग़ल सल्तनत के शहंशा, जहाँगीर की पत्नी नूर जहाँ ने किया था। 1620 में बना यह उद्यान, अपने प्राचीन फव्वारों और सुन्दर बागीचों के लिए प्रसिद्ध है । इस बगीचे का निर्माण कुछ इस तरीके से हुआ है कि फव्वारे से निकला पानी सीधा बगीचे में...
गुलमर्ग हिल स्टेशन की छोटी सी पहाड़ी पर सिद्ध, इस मंदिर को रानी मंदिर भी कहा जाता है। इसका निर्माण 1915 तक, कश्मीर के महाराजा रहे हरी सिंह की पत्नी, मोहिनी बाई सिसोधिया ने किया था। प्राचीन समय में, यह मंदिर डोगरा कुल के राजाओं का राज्य मंदिर था।
यह मंदिर...
बुद्गम जिले में स्थित मगं, गुलमर्ग से 18 कि.मी दूर , इस स्थान तक श्रीनगर - गुलमर्ग रोड मार्ग द्वारा पहुँच सकते हैं। 1569 मीटर की ऊंचाई पर स्थित यह स्थान व्यापारिक केंद्र के रुप में प्रसिद्ध है। यह 60% शिया मुसलमानों की आबादी वाला शहर है।
1985 में बनी, इदार...
गोंडोला लिफ्ट एक केबल कार है जिसका डिजाइन कश्मीर सरकार और फ्रेंच कंपनी पोमागाशी ने मिलकर बनाया है। इस आकाश तार से पर्यटक पूरे गुलमर्ग को देख पते हैं, जिसके कारण यह लिफ्ट काफी लोकप्रिय है। तटीय इलाके से 13500 फीट ऊँची यह लिफ्ट 5 कि.मी की 2 दूरियां तैय करती है। एक...
निंगली नल्लाह गुलमर्ग से 10 कि.मी दूर बहती एक सुंदर झील है, जिस में अफरात पहाड़ी की पिघलती बर्फ अलपाथर झील से होकर निंगली नल्लाह में बहती है। यह आगे झेलम में सौपर नदी संग समा जाती है। इस नदी का पानी बर्फ की तरह ठंडा होता है।
इस नल्लाह के साथ साथ पहाड़ों पर...
फिरोजपुर नल्लाह, पहाड़ों के बीच बहती छोटी सी धारा है जिसे शिन्माहिंऊ भी कहा जाता है। इसका जन्म गुलमर्ग से ५ कि.मी दूर फिरोजपुर शिखर में होता है। इस नल्लाहे के आस पास के निवासियों के लिए यह नल्लाह पानी का मुख्या स्रोत है।
यह मान्यता है कि इस पानी में पहाड़ों...
अलपाथर झील, गुलमर्ग से 13 कि.मी दूर और 4511 मीटर ऊँची, अफरात पहाड़ी की तलहटी पर बहती है। इस झील में जून महीने तक बर्फ जमी रहती है। गर्मियों में इसके साफ पानी संग बहती पिघलती बर्फ इस दृश्य को अनोखा बनती है। बर्फीली पहाडों के बीच स्थित, त्रिकोणीय आकार की इस झील को...
गुलमर्ग की सैंट मैरी चर्च, 1902 में ब्रिटिश शासन दौरान बनाई गई है। इसका निर्माण ब्रिटिश शैली में हुआ है, और हर साल इसे देखने कई सैलानी आते हैं। गुलमर्ग की यह 110 साल पुरानी चर्च उन चर्चों में से है जिसका निर्माण भारत में ब्रिटिश शासन दौरान हुआ था।
आज इसे...
समुंदरी तट से 5426 मीटर ऊँचा, यह शहर भारत के सबसे ऊँचे स्थित शहरों में से एक है। कित्शोम, वालंवर, गुलमर्ग,किलंमर्ग और बारामुला उदुर के करीब बसे अन्य कई शहर है।
गुलमर्ग के गोल्फ कोर्स का निर्माण ब्रिटिश शासन दौरान 1904 में किया गया और 1922 में यहाँ पहला गोल्फ टूनोमेंट खेला गया। समुंदरी तट से 2650 मीटर की ऊंचाई पर बना यह गोल्फ कोर्स, दुनिया के सबसे ऊंचे स्थित गोल्फ कोर्स में से एक है।
इस सुन्दर गोल्फ कोर्स के हरे...
अगर आप कभी गुलमर्ग जाए तो वहां की वादियों में 11 कि.मी लम्बी ऑटर सर्कल वाक में ट्रैक करना न भूलें। ट्रैकिंग के दौरान आप यहाँ कि वादियों में देवदार के पेड, हरे भरे मैदान, परिदृश्यों के खूबसूरत नजारों का लुत्फ उठा सकते हैं। इस ट्रैक के दौरान आप 8500 मीटर ऊँची...
180 वर्ग कि.मी में फैला गुलमर्ग बायोस्पियर रिज़र्व अपने वनस्पति और वन्यजीवों के लिए जाना जाता है, यह समुंदरी तट से लग भग 2400 मीटर से लेकर 4300 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है। यह पक्षियों के लिए प्राकृतिक निवास स्थान है। "बर्ड वाचर्स" को यहाँ पक्षियों की कई प्रजातियाँ...