घोघर मंदिर राउरकेला से 25 किमी दूर है। यह मंदिर हिंदू देवता शिव को समर्पित है। हरे-भरे पेड़ों के बीच स्थित इस मंदिर का हिंदू श्रद्धालुओं में विशेष धार्मिक महत्व है। श्रवण के महीने में मंदिर के शिवलिंग पर जल चढ़ाने के लिए छत्तीसगढ़ और झारखंड जैसे आसपास के क्षेत्रों...
बीजू पटनायक हॉकी स्टेडियम सेक्टर 5 और सेक्टर 6 के बीच में स्थित है। खिलाड़ियों को लाभ पहुंचाने के लिए इस स्टेडियम का निर्माण आधुनिक तकनीक से किया गया था। इसे भारत के बेहतरीन हॉकी स्टेडियमों में से एक माना जाता है।
राउरकेला स्टील प्लांट सेल द्वारा बनाए गए...
हनुमानजी को समर्पित हनुमान वाटिका एक खूबसूरत मंदिर है। मंदिर का गार्डन करीब 13 एकड़ भूभाग में फैला हुआ है। मंदिर की खासियत यहां के हनुमानजी की प्रतिमा है, जो कि एशिया में सबसे बड़ी है। श्री लक्ष्मण स्वामी द्वारा बनवाई गई इस प्रतिमा की ऊंचाई करीब 75 फीट है।
...गायत्री मंदिर दुर्गापुर की पर्वत श्रृंखला के फुटहिल्स पर स्थित है। यह मंदिर कई कारणों से काफी चर्चित है। इस मंदिर की स्थापना 1981 में सदगुरू श्री राम देवजी शर्मा ने की थी। मंदिर के आसपास का स्थान पौधों और फूलों से भरा पड़ा है, जिससे इसकी सुंदरता और भी बढ़ जाती...
राउरकेला शहर से 22.3 किमी दूर पितामहल बांध बालंडा गांव के पास स्थित है। पितामहल नदी पर बने इस बांध ने 1978 में काम करना शुरू किया था। इस बांध की कुल लंबाई 660.20 मीटर है और इसकी सबसे ज्यादा ऊंचाई 25.96 मीटर है।
राउरकेला के विभिन्न पिकनिक स्थलों में पितामहल...
लक्ष्मी नारायण मंदिर राउरकेला का एक खूबसूरत मंदिर है। भगवना विष्णु और देवी लक्ष्मी को समर्पित यह मंदिर राउरकेला का एक प्रमुख तीर्थस्थल है। एक छोटी पहाड़ी पर बने होने के कारण इसका निर्माण शानदार है। मंदिर के आसपास का वातावरण काफी शांत और निर्मल है और हिंदुओं के बीच...
मां वैष्णु देवी मंदिर राउरकेला का एक प्रसिद्ध मंदिर है। देवी काली, देवी सरस्वती और देवी लक्ष्मी को समर्पित यह मंदिर एक खूबसूरत पहाड़ी पर बना हुआ है। इन देवी की मूर्तियों को सन् 2000 में पहाड़ी पर पाया गया था और मंदिर का निर्माण कार्य 2003 के अंत में पूरा किया गया...
अहिराबंध जगन्नाथ मंदिर राउरकेला के सबसे चर्चित मंदिरों में से एक है। जैसा कि नाम से ही जाहिर है, यह मंदिर भगवान जगन्नाथ को समर्पित है। इसके अलावा यहां भगवान बलभद्र और सुभद्रा की भी पूजा होती है। यह मंदिर एक अहिराबंध नामक एक छोट से कस्बे में स्थित है, जो कि...
राउरकेला के पर्यटन स्थलों में मंदिरा बांध सबसे ज्यादा प्रसिद्ध है। इस बांध का निर्माण हीराकुड़ प्रोजेक्ट अथॉरिटी द्वारा 1957 से 1959 के बीच किया गया था। यह बांध जिस जगह पर बना वह बेहद खूबसूरत है। यहीं पर शंख नदी तंग घाटियों में प्रवेश करती है।
साथ ही...
वेदव्यास में बड़ी संख्या में पर्यटक आते हैं। इस खूबसूरत स्थान का महत्व तीर्थ के रूप में है। यह उस स्थान पर स्थित है, जहां पर काएल, शंख और सरस्वती नदी का पानी आपस में आकर मिलता है। इस कारण इस स्थान को त्रिधारा संगम के नाम से भी जाना जाता है।
राउरकेला से 9...
मा भगवती मंदिर राउरकेला शहर से करीब 7 किमी दूर है। 1993 में बना यह मंदिर शहर का एक प्रसिद्ध पूजनीय स्थल है। मंदिर की पृष्ठभूमि प्राकृतिक सुंदरता से आतप्रोत है। विभिन्न पेड़-पौधों से घिरा होने के कारण मंदिर परिसर का वातावरण काफी ठंडा रहता है।
मंदिर में...
खंडाधार वाटरफॉल राउरकेला से 104 किमी दूर है। 244 मीटर ऊंचा यह खूबसूरत जलप्रपात सुंदरगढ़ के जंगल में पड़ता है और यह ओडिशा का सबसे ऊंचा जलप्रपात है। यहां पानी को नीचे गिरते हुए देखना एक रोमांचक अनुभव साबित होता है।
साथ ही आसपास का क्षेत्र हरा—भरा होने...
रानी सती मंदिर राउरकेला से 35 किमी दूर बिरमित्रपुर नामक स्थान पर है। इस मंदिर को भारत के दूसरे झुन-झुन धाम के रूप में भी जाना जाता है। करीब 2 एकड़ में फैले इस मंदिर का निर्माण 1967 में किया गया था। सफेद संगमरमर से बने मंदिर की खूबसूरती मंत्रमुग्ध कर देने वाली...
दरजिन राउरकेला के सबसे आकर्षक पर्यटन स्थलों में से एक है। यह ब्राह्मणी नदी के किनारे पर स्थित है। इस स्थान पर सुनहरे किनारे के कारण यह नदी और भी खूबसूरत नजर आती है। पर्यटकों के बीच यह स्थान पिकनिक स्पॉट के रूप में काफी चर्चित है। वास्तव में दरजिन की खूबसूरती यहां...