देवभूमि उत्तराखंड को आत्मिक और मानसिक शांति का द्वार कहा जाता है। हर साल यहां लाखों की तादाद में विश्व भर से सैलानियों का आगमन होता है। अपने विभिन्न उद्देश्यों की पूर्ति के लिए यहां पर्यटक आना पसंद करते हैं। प्राकृतिक दृष्टि से उत्तराखंड देश का सबसे खास स्थल माना जाता है। केदारनाथ, बद्रीनाथ, हरिद्वार, ऋषिकेश जैसे स्थल इसे सांस्कृतिक और आध्यात्मिक रूप से खास बनाने का काम करते हैं।
यह राज्य प्राकृतिक आकर्षणों का खजाना है, जहां आप हिल स्टेशन से लेकर, झीलें, नदी-घाटी, वन्यजीव अभयारण्यों की सैर का आनंद उठा सकते हैं। आज इस खास लेख में हम आपको नैनीताल स्थित एक ऐसे हिल स्टेशन के बारे में बताने जा रहे हैं, जिसकी खूबसूरती से अतबक अधिकांश सैलानी अंजान है। हमारे साथ जानिए नैनीताल के अज्ञात हिल स्टेशन ज्योलिकोट के बारे में, जानिए यह पर्वतीय स्थल आपको किस प्रकार आनंदित कर सकता है।
ज्योलिकोट हिल स्टेशन
उत्तराखंड भ्रमण पर निकले बहुत से सैलानी विश्व नैनीताल की सैर करना भी पसंद करते हैं, लेकिन ज्यादातक पर्यटक नैनी झील और उसके आसपास के स्थलों तक ही सीमित रह जाते हैं। लेकिन ऐसा नहीं है नैनीताल में घूमने-फिरने और देखने योग्य अन्य स्थल मौजूद नहीं हैं। यहां बहुत सी ऐसी भी खूबसूरत जगहें मौजूद हैं, जिन्हें अज्ञात श्रेणी में रखा जा सकता है। नैनीताल की हसीन वादियों के मध्य एक जन्नतनुमा हिल स्टेशन स्थित है, जो ज्योलिकोट के नाम से जाना जाता है।
स्थानीय और सक्रिय ट्रैवलर्स को छोड़कर अधिकांश सैलानी ज्योलिकोट से अंजान है, जो जिले की सीमा के अतर्गत ही आता है। लगभग 1219 मीटर की ऊंचाई स्थित यह हिल स्टेशन, नैनी झील का गेटवे कहा जाता है। नैनीताल मुख्य शहर से इसकी दूरी मात्र 17 कि.मी है। शहर की भागदौड़ भरी जिंदगी के बीच आप यहां सुकून भरा समय बिता सकते हैं। दोस्तों के साथ एक यादगार ट्रिप के लिए यह एक आदर्श स्थल है।
आने का सही समय
ज्योलिकोट आने का आदर्श समय मार्च से अक्टूबर तक है, इस दौरान यहां का मौसम काफी अनुकून बना रहता है। सर्दियों के दौरान यह स्थल अत्यधिक ठंडा रहता है, हालांकि बहुत से साहसिक ट्रैवलर इस दौरान भी उत्तराखंड की सैर करना पसंद करते हैं।
आसपास के आकर्षण
ज्योलिकोट की प्राकृतिक खूबसूरती का आनंद लेने के साथ-साथ आप आसपास के पर्यटन स्थलों की सैर का प्लान बना सकते हैं। ज्योलिकोट से आप नैनीताल के सबसे मुख्य आक्रषण नैनी झील की सैर का प्लान बना सकते हैं। नैनी झील एक विश्व प्रसिद्ध पहाड़ी लेक है, जिसे देखने के लिए विश्व भर से पर्यटकों का आगमन होता है। इसके अलावा आप पंगोट स्थित किलबरी पक्षी अभयारण्य की रोमांचक सैर का आनंद ले सकते हैं।
उत्तराखंड का यह अभयारण्य पक्षी विहार के लिए एक आदर्श स्थल है, जहां पक्षियों की 500 से ज्यादा प्रजातियां पाई जाती हैं। आप ज्योलिकोट से 26 कि.मी दूर कालाढुंगी स्थल की सैर का प्लान बना सकते हैं, यह एक पर्वतीय स्थल है, जो अपनी कुदरती सौंदर्यता के लिए जाना जाता है।
क्यों आएं ज्योलिकोट ?
ज्योलिकोट की यात्रा कई मायनों में आपको लिए खास हो सकती है। अगर आप एक नेचर लवर्स हैं, और प्रकृति के करीब जाकर कुछ समय बिताना चाहते हैं, तो ज्योलिकोट आपके लिए एक आदर्श स्थल है। पहाड़ी स्थलों के प्रेमी यहां एक शानदार अवकाश बिता सकते हैं। अगर आप एक एकांत प्रेमी हैं, और किसी एकांत जगह की तलाश में हैं, तो यहां आ सकते हैं। फोटोग्राफी के शौकीन यहां के आकर्षक पहाड़ी दृश्यों को अपने कैमरे में उतार सकते हैं।
कैसे करें प्रवेश
ज्योलिकोट, नैनीताल का एक खूबसूरत पहाड़ी स्थल है, जहां आप परिवहन के तीनों साधनों की मदद से पहुंच सकते हैं। यहां का निकटवर्ती हवाईअड्डा पंतनगर एयरपोर्ट है। रेल मार्ग के लिए आप काठगोदाम रेलवे स्टेशन का सहारा ले सकते हैं, जहां से आपको देश के अन्य स्थानों के लिए रेल सेवा मिल जाएगी। अगर आप चाहें तो यहां सड़क मार्ग के जरिए भी पहुंच सकते हैं, बेहतर सड़क मार्गों के द्वारा ज्योलिकोट, राज्य के बड़े शहरों से अच्छी तरह जुड़ा हुआ है।