ओडिशा के उत्तरी हिस्से में स्थित राउरकेला एक योजनाबद्ध शहर है, यह राज्य के तीसरे सबसे बड़े शहरी समूह में गिना जाता है। राउरकेला राज्य के राजधानी शहर भुवनेश्वर से 340 किमी की दूरी पर पहाड़ियों की एक बड़ी श्रृंखला और नदियों से घिरा हुआ है। यह शहर इस्पात नगर के रूप में भी जाना जाता है। स्टील अथॉरिटी ऑफ इंडिया लिमिटेड (सेल) के सबसे बड़े इस्पात संयंत्रों में से एक है राउरकेला स्टील प्लांट की अपनी एक अलग पहचान है।
सेल, भारत के सबसे बड़े इस्पात संयंत्रों में से एक अपने समृद्ध लौह अयस्क के लिए प्रसिद्ध है। इसके अलावा यह शहर राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान (एनआईटी रूरकेला) के रूप में भी काफी ज्यादा विख्यात है। इन सब के अलावा यह शहर पर्यटन के लिए भी जाना जाता है। इस खास लेख में जानिए राउलकेला के सबसे प्रसिद्ध स्थानों के बारे में।
वेदव्यास मंदिर
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राउलकेला भ्रमण की शुरूआत आप यहां के प्रसिद्ध वेदव्यास मंदिर से कर सकरते हैं। ब्राह्मणी नदी के तट पर स्थित, वेदव्यास मंदिर उस पौराणिक स्थान को चिह्नित करता है जहां हिंदू महाकाव्यों में से एक महाभारत लिखी गई थी। वेदव्यास मंदिर में तीन प्रमुख इमारतें शामिल हैं, जिसमें एक स्कूल, एक आश्रम और गुफाएं शामिल हैं जहां महाभारत लिखी गई थीं।
यह स्थान एक लोकप्रिय पर्यटक गंतवय है और उन लोगों को जरूर यहां आना चाहिए जो भारत के सांस्कृतिक इतिहास को करीब से समझना चाहते हें।
वैष्णो देवी मंदिर
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वेदव्यास मंदिर के साथ-साथ आप यहां स्थित वैष्णो देवी मंदिर के दर्शन का प्लान बना सकते हैं। भारतीय राज्य जम्मू-कश्मीर में स्थित मूल वैष्णो देवी मंदिर की प्रतिकृति(रेप्लिका), यह मंदिर एक पहाड़ी पर स्थित है जो पूरे शहर के अद्भुत दृश्य पेश करता है।
वैष्णो देवी मंदिर 2007 में आम लोगों के लिए खोला गया था। दिवाली, होली और दशहरा जैसे हिंदू त्यौहारों के दौरान यहां भव्य आयोजन किए जाते हैं।
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रानी सती मंदिर
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2 एकड़ के क्षेत्र में फैला रानी सती मंदिर झुन-झुन धाम के रूप में भी जाना जाता है। मंदिर स्थल की उत्पत्ति अज्ञात है लेकिन संरचना का निर्माण 1967 में किया गया था, और 1992 और 2000 में मंदिर का पुननिर्माण किया गया था।
वैसे तो आप यहां किसी भी समय आ सकते हैं, लेकिन हिन्दू त्योहारों के दौरान यहां की सैर आदर्श मानी जाती है, इस दौरान यहां विभिन्न धार्मिक-सांस्कृतिक आयोजन किए जाते हैं। एक अलग अनुभव पाने की लिए आप यहां अपने परिवार या दोस्तों के साथ जरूर आएं।
डार्जिंग
मंदिर के अलावा आप यहां प्राकृतिक स्थानों की सैर का प्लान बना सकते हैं। ब्राह्मणी नदी के तट पर स्थित, डार्जिंग राउरकेला के पास एक प्रसिद्ध पिकनिक स्पॉट है। इस स्थल को हरे-भरे परिवेश के रूप में चिह्नित किया गया है, इसलिए यहां आप वीकेंड पर सैलालियों का अच्छा खासा जमावड़ा देख सकते हैं।
खासकर गर्म और आर्द्र गर्मी के महीनों के दौरान यहां सैलानियों द्वारा भ्रमण किया जाता है।
हनुमान वाटिका
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उपरोक्त स्थानों के अलावा आप यहां हनुमान वाटिका की सैर का आनंद ले सकते हैं। पौराणिक मान्यता के अनुसार यहां प्राचीन काल में कभी भगवान हनुमान रहा करते थे। स्थल के सांस्कृतिक महत्व के देखते हुए ओडिशा सरकार द्वारा पुनर्निर्माण करवाया गया और जनता के लिए खोला गया।
इस बगीचे में विभिन्न हिंदू देवताओं के कई मंदिर मौजूद हैं जिनके मध्य भगवान हनुमान की एक मोनोलिथिक 22.8 मीटर लंबी मूर्ति बनी हुई है,जो यहां आने वाले सैलानियों को बहुत हद तक प्रभावित करती है।
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