प्रसिद्ध एलीफेंटा गुफाओं, अब यूनेस्को की विश्व विरासत स्थल में शामिल हो गयी हैं। ये गुफाएं एलिफेंटा महाद्वीप में स्थित हैं। कहा जाता है की इस जगह का नामकरण पुर्तगालियों ने किया था। उनके द्वारा ऐसा करने पर कहा जाता है की जब पुर्तगाली पहली बार यहाँ आये थे तो उन्हें यहां हाथी की एक भीमकाय मूर्ति मिली थी। ये द्वीप, फ्रंट खाड़ी में मुंबई शहर के तट पर स्थित है। इस खाड़ी का नाम घारापुरी भी है जिसका अर्थ होता है गुफाओं का शहर। इस जगह पर दो प्रकार की गुफाएं हैं एक जो हिन्दू धर्म को दर्शाती हैं और दूसरी वो जो बौद्ध धर्म के मानने वालों के लिए हैं। ये दोनों गुफाएं सोमवार को निर्माणकार्य के मद्देनजर बंद रहती हैं।
एलिफेंटा - द्वीप के लिए नाव की सवारी
कोलाबा स्थित गेटवे ऑफ इंडिया टर्मिनल से इस द्वीप पर नौका द्वारा पहुंचा जा सकता है। यहां जाने का किराया बहुत सस्ता है और ये सेवा व्यक्ति को हर एक घंटे में दो बार उपलब्ध होती है। टूरिस्ट नौका के माध्यम से यहां एक घंटे के अंतराल में पहुंचते हैं। एक पर्यटक के रूप में नाव की सवारी और स्थलों का आनंद आपकी यात्रा में चार चांद लगा देगा। आपको बता दें की नौका विहार की ये पेशकश मुंबई हार्बर द्वारा की गयी है।
जब आप यहां से यात्रा कर रहे होंगे और गेटवे ऑफ इंडिया टर्मिनल से कुछ आगे निकलेंगे तो रास्ते में आपको यूनिवर्सिटी टॉवर, विक्टोरिया टर्मिनस टॉवर और होटल ताज दिखेगा जो आपकी नजरों को बाँध देगा ये दृश्य किसी का भी मन मोह सकता है।
जैसे ही ये नौका द्वीप पर रूकती है आप वहीँ से ही सीधे गुफा के अन्दर जाने वाली सीढ़ियों के पास जा सकते हैं। आप यहां जाने के लिए रेल का भी विकल्प चुन सकते हैं। इस ट्रेन सेवा को एलिफेंटा एक्सप्रेस ट्रेन सेवा का नाम दिया गया है। अगर बात इन गुफाओं के अस्तित्त्व के बारे में की जाये तो कहा जाता है की ये गुफाएं पांचवी और आठवीं सदी के बीच की हैं लेकिन अभी भी इन गुफाओं के अस्तित्त्व के बारे में जानकारियां जुटाई जा रही है।
गुफाएं और योग
मुख्य मंदिर या ग्रेट गुफा अन्य सभी गुफाओं में सबसे ज्यादा लोकप्रिय है और सबसे ज्यादा पर्यटकों की तादाद यहीं देखने को मिलती है। अगर बात दो सबसे ज्यादा लोकप्रिय मूर्तियों की हो तो इनमें नाम आता है एलिफेंटा त्रिमूर्ति और नटराज का।भगवान शिव की नृत्य की मुद्रा में बनाई गयी मूर्ति को पर्यटकों को जरूर देखना चाहिए। मुख्य मूर्तियों के अलावा यहां आने वाले पर्यटक भगवन शिव की उन मूर्तियों को भी देख सकते हैं जिनमें वो योग के अलग अलग आसनों में बैठे हैं। संरक्षण के प्रयासों के मद्देनजर, द्वीप प्रशासन ने एक संग्रहालय के रूप में अब इस जगह को स्थापित कर दिया है।
अगर यहां आने वाले पर्यटकों में यदि रोमांच हो तो वो एलिफेंटा पहाड़ के टॉप पर चढ़कर कैनन पॉइंट और मुंबई शहर की कोस्ट लाइन का भी नजारा ले सकते हैं। अगर यहां आने वाला टूरिस्ट यहां आकर अपने रोमांच का प्रदर्शन और हिम्मत दिखाए तो उसे कई ऐसी चीजें दिख जाएंगी जिसकी उसने कभी भी कल्पना नहीं की होगी।