’दत्तात्रेय की गुफा’ नाम से भी प्रसिद्ध वल्ली की गुफा तिरुचेंदूर की एक लोकप्रिय साइट है। यह गुफा बलुआ पत्थर की चट्टान के नीचे, थिरुचेंदुर मुरुगन मंदिर के उत्तरी हिस्से की ओर समुद्रतट पर स्थित है। यहाँ से समुद्र दिखाई देता है और यह एक अद्भुत साइट है। इस गुफा में भगवान मुरुगन की पत्नियों, वल्ली और दत्तात्रेय की दो मूर्तियाँ हैं। इसमें 16 खंभों वाला एक पत्थर का मंडप है जो लगभग साढ़े 24 फीट लंबा और साढ़े 21 फीट चौड़ा है। भगवान मुरुगन और वल्ली की कहानियों को दर्शाती प्राचीन नक्काशियाँ, मूर्तियाँ और चित्र भी इस गुफा में देखे जा सकते हैं। हाल ही में ग्रेनाइट के फर्श और समुद्र पर प्रारूप के साथ इस गुफा को पुर्ननिर्मित किया गया है।