जैनूकलुगुडा, यल्लापुर से 20 कि.मी दूर है। जैनू का अर्थ है शहद, कलु का अर्थ है पत्थर और गुडा का अर्थ है पर्वत। पर्यटकों को पर्वतो के पीछे डूबता सूर्य और पहाड़ो के बीच से बहती “बेती नदी" का अरब सागर के संग होता संगम मन को मोहित करता है। जैनूकलुगुडा के...
कवडी झील यल्लापुर और मागोड़ गाँवों के बीच में आती है। यह यल्लापुर से 20 कि.मी और मागोड़ से 9 कि.मी दूर है। 62 एकड़ में फैली यह झील बहुत ही सुन्दर और आकर्षक है। इस झील के पास प्राचीन दुर्गा देवी का मंदिर है। इस झील के पास छोटी छोटी पहाड़ियों पर कई तरह के...
सातोड़ झरना यल्लापुर से 25 कि.मी दूर, गणेशगुंडी पर्वत श्रेणी में स्थित है। इसका जन्म कलारम्नी घाटों में बहती कई धाराओं के मिलने से होता है। इसे उत्तर कर्नाटक का " मिनी नैगरा फालस" भी कहा जाता है। यहाँ 49.2 फीट ऊँचा है। और इसका प्रवाह कोडसाली बाँध में मिला है।...
यल्लापुर से 19 कि.मी दूर मागोड गाँव में मागोड झरना है। यह जैनूकलुगुडा के बहुत करीब है। इस झरने का जन्म बेती नदी से होता है, जब वह दो चरणों में 650 फीट की ऊँचाई से नीचे आती है। इसी झरने के पास पहाड़ों के बीच कवडी झील है। यात्री अगर कभी यल्लापुर जाएँ तो...
12वीं सदी में बना यह मंदिर एक शिव मंदिर है। इस के अंदर पत्थर का शिव लिंग और नदी की प्रतिमा स्थपित है। यह यल्लापुर से 3 कि.मी दूर है। यह एक शिला मंदिर है और इसके खम्बो पर कन्नड़ भाषा में कई नक्काशियां और शिलालेखाये लिखी गई है।