वुलर झील, कश्मीर में स्थित है, जो भारत की सबसे बड़ी ताजे पानी की झील है और एशिया में सबसे बड़ी मीठे पानी की झीलों में से एक है। इस झील का असली नाम महापदमा सार है जो क्षेत्र में प्राकृतिक जलाशय के रूप विख्यात, प्रसिद्ध नाल सरोवर पक्षी अभयारण्य के पास में ही स्थित है। यह झील पक्षियों और मछलियों की विभिन्न प्रजातियों का घर हैं जहां इन सभी को देखा जा सकता है।
यह सभी जीव झेलम नदी से पानी प्राप्त करते हैं। वुलर झील का आकार मौसम और रेंज के हिसाब से 30 वर्ग किमी से 260 वर्ग किमी के बीच बदलता रहता है। मछलियों की कई महत्वपूर्ण प्रजातियां कॉमन कार्प, गुलाबी कंटिया, मास्कीटोफिश, द नेमाचेलीओस स्पीस्स, द क्रासचेलिओस लाटिउस और कई बर्फ ट्राउट यहां पाई जाती हैं।
मछली यहां के लोगों का महत्वपूर्ण भोजन है और अपने आहार में इसे मुख्य स्थान देते हैं। यहां लगभग 8000 मछुआरे मछली पालन से ही अपनी रोजी रोटी चलाते है। यहां कई प्रसिद्ध चिडि़यां भी पाई जाती हैं जैसे - नीले रॉक कबूतर, ओरियल सुनहरा, अल्पाइन स्वीफ्ट, स्पारो हॉक और कम पंजे वाले ईगल।
झील के बीचोबीच में एक प्राचीन द्वीप के अवशेष को भी देखा जा सकता है जो सम्राट जैन - उल - आबेदीन द्वारा निर्मित है। पोहरू, ईरीन, हजर्बुल, और आराह यहां के कई प्रमुख नाले हैं जो इस झील में बहते हैं। यहां की यात्रा का सबसे अच्छा समय अप्रैल से जून के बीच होता है।