नेल्लोर, आंध्र प्रदेश राज्य के सबसे तेजी से विकसित होने वाले शहरों में से एक है। यह राज्य का 6 वीं सबसे ज्यादा आबादी वाला शहर है। इसके अलावा, यह श्री पोट्टी रामुलु नेल्लोर जिले की राजधानी भी है। इस जिले को पूर्व में नेल्लोर के नाम से ही जाना जाता था। यहां कई मंदिर स्थित है और यह एक महत्वपूर्ण कृषि केंद्र है। नेल्लोर, पेन्ना नदी के किनारे पर स्थित है और इस क्षेत्र में फसलों की विविधता पाई जाती है। इस शहर में वाणिज्य और व्यापार का बराबर महत्व है। नेल्लोर, तमिलनाडु और चेन्नई से अच्छी तरह से जुड़ा हुआ है।
नेल्लोर और उसके आसपास स्थित पर्यटन स्थल - आकर्षण के केंद्र
श्री रंगनाथनस्वामी मंदिर, नेल्लोर का सबसे प्रमुख आकर्षण है। यह मंदिर, शहर के अंदर स्थित है और लगभग 600 साल पुराना है। इस मंदिर की सबसे प्रसिद्ध और उल्लेखनीय बात यह है कि यहां 70 फुट ऊंचा खंभा खड़ा है जो गालिगोपुरम कहलाता है। इसका शाब्दिक अर्थ होता है - हवा टावर। गालीगोपुरम के शीर्ष पर, मंदिर की भव्यता को बढ़ाने के लिए सात सोने की परत चढ़े कलशों को रखा गया है।
नेल्लोर, कई प्राकृतिक और सुरम्य स्थलों के बीच में स्थित है जिनमें से मेपादु तट और पुलीकट झील शामिल है। नेल्लोर के पास में ही नेलापाट्टु पक्षी अभयारण्य स्थित है जहां कई प्रजातियों की चिडि़यां पाई जाती है। यहां से लगभग 13 किमी. की दूरी पर नरसिम्हास्वामी मंदिर स्थित है। नेल्लोर के पास में ही सोमसिला स्थित है जो एक प्रसिद्ध पिकनिक स्पॉट है। यहां का वातावरण शांत और दृश्य, प्राकृतिक दृश्यों से परिपूर्ण होते है।
नेल्लोर का इंफ्रास्ट्रक्चर, आंध्र प्रदेश के सबसे विकसित इंफ्रास्टक्चर में से एक है। यह शहर तेजी से विकास कर रहा है। नेल्लोर में कई शासकों का शासन रहा है। यहां का सबसे पहला शासन मौर्य साम्राज्य कर था। तीसरी सदी में सम्राट अशोक का शासन, नेल्लोर में था। समय के साथ -साथ इस शहर में कई वंश आएं, शासन किया और चले गए जिनमें से पल्लव, तेलुगु चौलस, सातवाहनों और कई अन्य राजवंश प्रमुख है। इन सभी राजवंशों का प्रभाव आज भी यहां देखा जा सकता है। यहां के कई मंदिरों और संरचनाओं की वास्तुकला में इन शासनों की झलक देखने को मिलती है। वाणिज्य और कृषि केंद्र होने के बावजूद, इस शहर में ब्रिटिश राज के दौरान की कई निशानियां देखने को मिलती है।
नेल्लोर नाम की उत्पत्ति
ब्रिटिश शासन के दौरान, नेल्लोर एक शांतिपूर्ण स्थल था। बाद में यहां स्वतंत्रता संग्राम छिड़ा और राजनीतिक अराजकता फैल गई। भारत की आजादी के पश्चात्, यह क्षेत्र प्रमुख राजनीतिक परिवर्तन का केंद्र था। यह जिला 1 अक्टूबर, 1953 तक मद्रास राज्य के अधीन था। बाद में, नेल्लोर शहर को आंध्र प्रदेश के गठन के बाद एक जिला बना दिया गया। यह मुख्य रूप से आंध्र प्रदेश के राज्य की स्थापना से जुड़ा हुआ था। यहां प्रसिद्ध देश भक्त श्री रामुलु, अपना आंदोलन चलाते थे, जो एक तेलुगु निवासी थे और आंध्र प्रदेश राज्य को बनाने के पक्षधर थे।
नेल्लोर का मौसम
नेल्लोर में आसपास स्थित वनों की तेजी से होने वाली कटाई के कारण, अब यहां का मौसम गर्म और आर्द्र रहने लगा है। गर्मियों के दिनों में यहां तापमान 41 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच जाता है। मई के महीने में सबसे ज्यादा गर्मी होती है। अप्रैल और मई के महीने में गर्म हवाएं चलती है। नेल्लोर की यात्रा का सबसे अच्छा मौसम सर्दियों के दौरान होता है।
नेल्लोर कैसे पहुंचे
नेल्लोर, चेन्नई के काफी नजदीक स्थित है। इसका नजदीकी राज्य तमिलनाडू है जो 200 किमी. की दूरी पर स्थित है। नेल्लोर से चेन्नई तक आसानी से पहुंचा जा सकता है। नेल्लोर से हैदराबाद की दूरी, 450 किमी. है।