श्री मवीलियक्कावू मंदिर, एक प्रसिद्ध धार्मिक केंद्र है जिसे यहां की पुरानी व अनूठी रस्मों और सांस्कृतिक कार्यक्रमों के लिए जाना जाता है। यह मंदिर एक छोटे और सुंदर से गांव में स्थित है जिसका नाम मवीलाई है। यह गांव केरल के प्रख्यात कम्युनिस्ट नेता ए के गोपालन का जन्म स्थल भी है। यह गांव, कन्नूर से 15 किमी. की दूरी पर स्थित है और कन्नूर - कुलाथुपुजहा मार्ग पर स्थित है।
इस मंदिर में प्रभु गणपति और देवी भगवती के साथ भगवान दैवट्टर, भगवान वेट्टाकारूमकन की भी पूजा की जाती है। अदियुलसवम ( एक नकली लड़ाई वाला त्यौहार ) त्यौहार, श्री मवीलियक्कावू मंदिर को केरल के अन्य मंदिरों से अलग बनाता है। इस दुलर्भ अनुष्ठान में कलाकारों का एक समूह होता है, वह एक दूसरे को मारते हैं जो पुरूषों के कंधों पर किया जाता है।
अदीयुलसवम को मलयालम के मदम महीने में मनाया जाता है, इस दौरान सैकड़ों श्रद्धालु और पर्यटक दर्शन के लिए आते हैं। पविलाक्कावू थेय्यम एक प्राचीन नृत्य है जिसे पेरूवन्नन समुदाय के लोगों द्वारा प्रस्तुत किया जाता है जो इस मंदिर को अधिक उल्लेखनीय और आकर्षक बनाता है।