उत्तर प्रदेश का पर्यटन विभाग इन दिनों राज्य को विकसित करने के लिए हर तरीके से काम कर रहा है। ऐसे में अब ऐतिहासिक, धार्मिक व सांस्कृतिक तीनों स्थलों को विकसित करने की कोशिश की जा रही है। इसी क्रम में अब वृंदावन के बांके बिहारी मंदिर का भी नाम सामने आया है। अब बांके बिहारी जी के मंदिर का कॉरिडोर बनेगा, जो निर्माण काशी विश्वनाथ के तर्ज पर होगा। इसके बाद मंदिर का स्वरूप बदलकर एक भव्य मंदिर के रूप में विकसित किया जाएगा।
बढ़ जाएगी मंदिर की खूबसूरती
दरअसल, कॉरिडोर के निर्माण से मंदिर के भव्यता में और चार-चांद लग जाता है। ऐसे में नवनिर्मित काशी विश्वनाथ की तर्ज पर अब मथुरा के बांके बिहारी के मंदिर का भी कायाकल्प होगा, जिसके ना सिर्फ मंदिर का विकास होगा बल्कि इससे मथुरा का पर्यटन भी बढ़ेगा। इसके लिए जिला प्रशासन ने एक प्रस्ताव बनाया है। कॉरिडोर बनने से श्रद्धालुओं को संकरी गलियों से भी मुक्ति मिलेगी।
कॉरिडोर यात्रियों के लिए सुविधाजनक
दक्षिण भारत में स्थित रामेश्वरम मंदिर का कॉरिडोर सबसे प्राचीन व सबसे बड़ा कॉरिडोर है। इसकी वास्तुकला भी बेहद खूबसूरत है, जो देखने लायक बनती है। इस कॉरिडोर की चौड़ाई 197 मीटर और लम्बाई 400 फीट है। ऐसे में कॉरिडोर बनने से श्रद्धालुओं के लिए काफी सुविधाजनक हो जाता है। यह देखते हुए अब बांके बिहारी मंदिर का कॉरिडोर भी जल्द ही बनाया जाएगा, जिससे मंदिर परिसर में आने वाले दर्शनार्थियों को होने वाली परेशानियों से मुक्ति मिल सकेगी।
कॉरिडोर से बढ़ी काशी विश्वनाथ की भव्यता
काशी विश्वनाथ मंदिर का कॉरिडेर करीब पांच लाख वर्ग फीट में फैला हुआ है, जिसमें 23 इमारत और 27 मंदिर आते हैं। इस कॉरिडोर में श्रद्धालुओं के सुविधा को देखते हुए चार बडे़ गेट बनाए गए हैं, साथ ही कॉरिडोर में 22 शिलालेखों पर काशी की महिमा का वर्णन भी किया गया है। इसके अलावा इस कॉरिडोर में मंदिर चौक, मुमुक्षु भवन, कई यात्री सुविधा केंद्र, यूटिलिटी भवन सहित कई जनसुविधाएं दी गई हैं।