बहते पसीने और चुभती गर्मी के बाद बारिश और मॉनसून का अपना एक अलग ही मज़ा है। जहां एक तरफ ये बारिश आपको उमस भरी गर्मी से राहत देती है तो वहीँ दूसरी तरफ बारिश में नहाए पेड़ पौधों और वनस्पति को भी देखकर आपका मन मंत्र मुग्ध हो जाता है जिससे आप प्रफुल्लित हो उठते हैं।
जी हां पूर्वी भारत में भी लगभग मॉनसून की शुरुआत हो चुकी है तो आज इसी क्रम में हम आपको अवगत कराएंगे पूर्वी भारत के उन खूबसूरत स्थानों से जहां इस मॉनसून आप घूमने के लिए जा सकते हैं।
" title="अल्मोड़ा नेचर भी जहां खुद अपनी खूबसूरती पर इतराता है, शर्माता है, बलखाता है" loading="lazy" width="100" height="56" />अल्मोड़ा नेचर भी जहां खुद अपनी खूबसूरती पर इतराता है, शर्माता है, बलखाता है
ज्ञात हो कि वर्तमान में पूर्वी भारत में ऐसा बहुत कुछ है जो पर्यटन को बढ़ावा देते हुए देश दुनिया के पर्यटकों को अपनी तरफ आकर्षित कर रहा है। यदि आप प्रकृति को उसके सबसे खूबसूरत रूप में देखना है तो पूर्वी भारत के अलग अलग शहरों का रुख अवश्य करें। Read: विश्व का इकलौता मंदिर जहां 10 अलग रूपों में विराजें हैं भगवान विष्णु
तो अब इंतेजार किस बात का आइये कुछ चुनिंदा स्लाइड्स के जरिये जाना जाये कि इस मॉनसून पूर्वी भारत में कहां कहां घूमा और छुट्टियों को एन्जॉय किया जा सकता है।
ब्रह्मपुर
इस शहर को ब्रह्मपुर नाम ब्रिटिश उपनिवेशवादियों द्वारा दिया गया है। हाल ही में इस शहर के नाम को बदल कर ब्रह्मपुर कर दिया गया है जो इस शहर के मूल नाम में संस्कृत भाषा के प्रभाव को दर्शाता है। सारी पुरानी आदतों की तरह, इस शहर के नाम को भी भारतीय रुप देने के प्रयास स्पष्ट हैं, लेकिन कुछ अगाध कारणों के लिए यह आज भी ब्रह्मपुर के नाम से जाना जाता है। इस नाम का शाब्दिक अनुवाद भगवान ब्रह्मा के निवास स्थान के रुप में होता है। अनगिनत मंदिर और स्थानीय लोगों का धार्मिक झुकाव वर्तमान दिन में शहर के नामकरण को उचित ठहराते हैं।
बिलासपुर
बिलासपुर छत्तीसगढ़ का दूसरा सबसे बड़ा और तीसरा सबसे अधिक आबादी वाला जिला है। यह भारत में विद्युत उत्पादन का केंद्र है। बिलासपुर रेलवे के माध्यम से सबसे अधिक राजस्व उत्पन्न करने वाले स्थानों में से एक है। छत्तीसगढ़ राज्य का उच्च न्यायालय यहीं स्थित है। भिलाई, रायपुर, कोरबा और रायगढ़ के साथ-साथ, बिलासपुर हमारे देश में इस्पात के निर्माण के लिए जाना जाता है।
जशपुर
जशपुर, पहाड़ी इलाकों और हरी - भरी हरियाली से घिरा स्थान है जो छत्तीसगढ़ के उत्तर - पूर्वी हिस्से में स्थित है। पहाड़ी इलाके को ऊपरी घाट के नाम से और समतल क्षेत्रों को कुछ पहाड़ों के साथ नीचे घाट के नाम से जाना जाता है। ऊपरी घाट, एक पठार का हिस्सा है जिसे पैट के नाम से जाना जाता है। यहां दो मुख्य घाट है जिनके नाम है : झंडा घाट और भेलाघाट। जशपुर नगर एक शहर है जो छोटानागपुर पठार क्षेत्र में स्थित है।
कबीरधाम
कबीरधाम पहले कवर्धा जिले के रूप में जाना जाता था और यह दुर्ग, राजनंदगांव, रायपुर और बिलासपुर के मध्य स्थित है। यह 4447.5 कि.मी² के क्षेत्रफल में फैला है। कबीरधाम एक शांत और निर्मल स्थान है जिसे प्रकृति प्रेमी बहुत पसंद करते हैं। इसके चारों ओर फैला जंगल, पहाड़ और धार्मिक मूर्तियां परिवेश को सुरम्य बनाते हैं। कबीरधाम का पश्चिमी और उत्तरी भाग सतपुड़ा की माईकल पर्वत श्रृंखलाओं से परिबंधित है। यह साकारी नदी के दक्षिणी किनारे पर स्थित है।
पुरी
पुरी, पूर्वी भारत के ओड़िशा राज्य का एक शहर है जो गर्व से बंगाल की खाड़ी पर खड़ा है। यह ओड़िशा की राजधानी भुवनेश्वर से 60 किमी दूर स्थित है। पुरी शहर को जगन्नाथ मंदिर के कारण जगन्नाथ पुरी के नाम से भी बुलाया जाता है जो इस शहर को इतना लोकप्रिय बनाता है। लोगों के अनुसार, भारत में हिंदू तीर्थ यात्रा पुरी के दर्शन बिना अधूरी है। जगन्नाथ मंदिर भारत का एकमात्र मंदिर है जहां राधा, के साथ दुर्गा, लक्ष्मी, पार्वती, सती, और शक्ति सहित भगवान कृष्ण भी वास करते हैं।
रामगढ़
झारखंड राज्य के 24 जिलों में से एक रामगढ़ है जो एक महत्वपूर्ण पर्यटन स्थल है। यह जिला 12 सितम्बर, 2007 में स्थापित किया गया था, जो हजारीबाग जिले से अलग करके बनाया गया था। रामगढ़ का शाब्दिक अर्थ है - भगवान राम का गढ़। इस जिल में 6 ब्लॉक है जिनके नाम है - पथराथु, गोला, मांडु चित्रपुर और दुलमी है। इतिहास गवाह है कि रामगढ़ का इतिहास पाषाण काल से बेहद समृद्ध था। यहां गुप्त साम्राज्य, मुगल साम्राज्य और ब्रिटिश शासनकाल के सबूत देखने को मिलते है।
सारन
सारन बिहार के अड़तीस जिलों में सबसे ज्यादा घूमा जाने वाला पर्यटक स्थान है। सारन एक बड़ा डिवीज़न है जिसका एक भाग छपरा भी है जहाँ सारन स्थित है। सारन मानव जीवन के असंख्य सामूहिक प्रभाव जैसे आध्यात्म, संस्कृति और लोककथाओं से ओतप्रोत है। सारन बिहार का सांस्कृतिक और पारम्परिक भाग है जो जीवन के हर भाग को खुशियों के साथ जीता है।
सरगुजा
सरगुजा, छत्तीसगढ़ के उत्तरी भाग में स्थित है और इसकी सीमा उत्तर प्रदेश और झारखंड से मिलती है। इस स्थल की 50 प्रतिशत भूमि जंगल से ढकी हुई है जहां ढ़ेर सारे जंगल है। छत्तीसगढ़, भारत में 7 वां चाय पैदा करने वाला सबसे बड़ा राज्य है और सरगुजा और जसपुर, चाय की पैदावार के लिए सबसे उपयुक्त स्थल है। कई पौराणिक कहानियां इस स्थल से जुड़ी हुई है। ऐसा कहा जाता है कि भगवान राम ने अपने 14 वषों के वनवास के दौरान इस स्थान की सैर की थी और इस जगह के कुछ स्थलों के नाम भगवान राम, सीता माता और लक्ष्मण जी के नाम पर रखे गए है।